लखनऊ।
केजीएमयू के नेत्र विभाग में डॉक्टरों
में आपसी खींचतान जारी है। डॉक्टर और विभागाध्यक्ष में जबरदस्त असंतोष है।
बीतें दिनों बैठक में विभागाध्यक्ष से एक डॉक्टर का मतभेद बढ़ गया। नतीजतन
डॉक्टर को अनुशासनहीनता के आरोप में निलंबित कर दिया गया। अब विभाग के ही
तीन डॉक्टरों ने विभागाध्यक्ष की कार्यशैली को लेकर कुलपति को सामूहिक पत्र
लिखा है। जिसमें सत्तर पन्नों के साक्ष्य भी लगाए हैं।
कुलपति
डॉ. बिपिन पुरी को पत्र लिखकर डॉक्टरों ने विभाग में खरीद-फरोख्त में
गड़बड़ी के आरोप लगाए। कंपनी विशेष को बढ़ाव दिए जाने व कार्यस्थल पर
परेशान करने का आरोप लगाया। डॉक्टर का आरोप है कि विभागाध्यक्ष द्वारा
नियमानुसार विभागीय जिम्मेदारियों व परीक्षक आदि का रोटेशन न करके भेदभाव
किया जा रहा है। इस प्रकार की उठा पटक से विभाग में डॉक्टरों के मध्य सदभाव
बिगड़ गया है। जो केजीएमयू के लिए उचित नहीं है। इसका दुष्प्रभाव सीधे
मरीजों और छात्रों पर पड़ रहा है। प्रोजेक्ट, शोध व ट्रायल आदि के
पत्राचारों में मुसीबतें खड़ी करने का भी आरोप लगाया गया है।
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